दिलेश्वर दर्वे को जब इस बात की जानकारी मिली तो उन्होंने दोनों की शादी करवा दी। यहां बता दें कि दिलेश्वर दर्वे और गीता देवी की पुत्री से सिकंदर यादव से शादी हुई थी। वहीं कुछ दिन पहले सिकंदर यादव की पत्नी का देहांत हो गया था। सिकंदर को एक लड़का और एक लड़की भी है। '
पत्नी के मरने के बाद सिकंदर यादव को अपने सास से प्यार हो गयापत्नी के मरने के बाद सिकंदर यादव को अपने सास से प्यार हो गया। वह अक्सर अपना ससुराल हीर मोती आने लगा। दिलेश्वर दर्वे को शक हुआ कि मामला कुछ गड़बड़ है। इसकी जानकारी उन्होंने आसपास के लोगों को दी। ग्रामीणों के सिकंदर और गीता को बुलाया।
दोनों को काफी समझाया और कहा कि इस प्रकार का व्यवहार हमारे समाज को कलंकित करता है। लेकिन दोनों अपने प्यार को पाने के लिए बेचैन थे। दोनों ने शादी करवा देने की बात कही।
इसके बाद ग्रामीणों के सामने दिलेश्वर दर्वे ने अपनी पत्नी और दामाद की शादी करवा दी। इसके बाद बांका न्यायालय में जाकर दोनों की शादी को कानूनी मान्यता दिला दी। दामाद और पत्नी को आशीर्वाद देकर विदा कर दिया।
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